सरदार पटेल की प्रतिमा 'स्टैच्यू ऑफ यूनिटी' को 'ईश्वर' ने किया बोतल में बंद...!

देश के पहले गृहमंत्री रहे वल्लभभाई पटेल की प्रतिमा स्टैच्यू ऑफ यूनिटी को गुजरात के नर्मदा जिले के केवडिया में बनाया गया है।
लौह पुरुष सरदार वल्लभ भाई पटेल की 143वीं जयंती के मौक पर उनकी 182 मीटर ऊंची प्रतिमा का किया जा रहा है। देश के पहले गृहमंत्री रहे वल्लभभाई पटेल की इस प्रतिमा को 'स्टैच्यू ऑफ यूनिटी' नाम दिया गया है। यह विश्व की सबसे ऊंची प्रतिमा है, जिसकी चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है। लेकिन क्या आपको पता है कि सरकार पटेल की बेहद छोटी प्रतिमा कहा है और इसे किसने बनाया है...?
सरदार पटेल की काफी छोटी प्रतिमा बनाने का कारनामा कर दिखाया है, ओडिशा के एल ईश्वर राव ने। भुवनेश्वर में रहने वाले ईश्वर एक मिनिएचर(सूक्ष्म आकार का चित्र/प्रतिमा) आर्टिस्ट हैं। उन्होंने सरदार पटेल की सबसे ऊंची प्रतिमा 'स्टैच्यू ऑफ यूनिटी' का मिनिएचर बनाया है। ईश्वर ने इस प्रतिमा को एक कांच की बोतल में तैयार किया है। ईश्वर ने बताया कि सरदार पटेल की इस सबसे छोटी प्रतिमा को बनाने में उन्हें तीन दिन का समय लगा।
देश के पहले गृहमंत्री रहे वल्लभभाई पटेल की प्रतिमा स्टैच्यू ऑफ यूनिटी को गुजरात के नर्मदा जिले के केवडिया में बनाया गया है। 182 मीटर ऊंची इस प्रतिमा को बनाने में हजारों मजदूर व सैकड़ों इंजीनियर तो महीनों तक जुटे ही साथ ही अमेरिका, चाइना से लेकर भारत के शिल्पकारों ने भारी मेहनत की। सरदार का चेहरा कैसा हो और भावभंगिमा कैसी हो इसे तय करने में काफी समय लग गया।
करीब 44 माह के रिकार्ड समय में निर्मित इस प्रतिमा पर करीब 2332 करोड़ रुपये की लागत आई। प्रतिमा के निर्माण में 70,000 टन सीमेंट, 22,500 टन स्टील व 1,700 मीट्रिक टन तांबा लगा है। प्रतिमा भूकंप रोधी है जो 6.5 तीव्रता के भूकंप को सहन कर सकती है और 220 किमी प्रति घंटा की तेज हवा का सामना कर सकती है। चार धातुओं से बनी इस प्रतिमा को जंग छू भी नहीं सकेगा। निर्माण में 85 फीसद तांबा का उपयोग किया गया है।
अमेरिका की स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के निर्माण में पांच साल लगे थे। चीन में बुद्ध की प्रतिमा के निर्माण में करीब 90 साल लगे थे।
प्रतिमा के पास ही 17 किमी लंबी वैली ऑफ फ्लावर तैयार की गई है। यहां दुनिया के विविध फूलों की किस्म के साथ नमो फूल भी देखे जा सकेंगे। पर्यटकों के लिए एक टेंट सिटी और सरदार पटेल को समर्पित एक म्यूजियम भी बनाया गया है। 55 मंजिला (करीब 600 फीट) प्रतिमा के हृदयस्थल 153 मीटर की ऊंचाई तक लोग लिफ्ट से पहुंचकर वहां से 138 मीटर ऊंचे सरदार सरोवर बांध को देख सकेंगे। युवाओं के लिए यहां सेल्फी पॉइंट बनाए गए हैं।